क्या तुम नहीं मिलोगीअब नए साल मेंया फिर मिलोगीतो उन उलझनों की तरह मिलोगीजो पैदा होती रहीं तुमसे मिलने के बाद मेरे मन में क्या तुम मिलोगीएक नई मुस्कान के साथया फिर अपनी तकलीफों के रेगिस्तान के साथ नए साल मेंक्या तुम एक नए गीत की तरह मिलोगीजिसे गुनगुनाना हो आसानया एक ऐसे संगीत की […]
Tag: Vimala Kumara
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स्मृतियाँ आती हैं…
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मेरे पास कुछ शब्द बचे हैं
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