नदी | विश्वनाथ-प्रसाद-तिवारी नदी | विश्वनाथ-प्रसाद-तिवारी एक नदी मेरे आगेबह रही है। मैं देख रहा हूँउसका गुजरना। मैं खुद गुजर रहा हूँ-इस नदी के साथ। हम दोनोंएक दूसरे से अलगऔर साथ-साथ गुजर रहे हैं।