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साथ साथ | असीमा भट्ट

साथ साथ | असीमा भट्ट साथ साथ | असीमा भट्ट शाम के धुँधलके मेंहम तुम जो साथ साथ चल रहे हैंएक दूसरे का हाथ, हाथ में लिएसुनसान राहों परमैं देखती हूँ, सूरज को तुम्हारी आँखों में ढलते हुए…मैं इसे अपनी आँखों में समो कर रखूँगी रात भर…सुंदर सपनों की तरहसुबह फिर से निकलेगा यह सूरजहम […]